CHIPS ME HAWA KYU BHARI JAAT HAI #sciencefacts #health
आपने चिप्स या
कुरकुरे खाए होंगे और आपने ध्यान दिया होगा की उनका पैकेट कुछ कुछ फुला सा होता है
और उसकी एक्सपायरी डेट भी 3 महीने तक होती है जबकि घर में हम चिप्स बनाते है तो वो
तो 2 घंटे के अन्दर ही सिल या खराब हो जाते है तो ऐसा क्यों होता है
असल में चिप्स के
पैकेट में नाइट्रोजन गैस भरी जाती है और सिर्फ नाइट्रोजन गैस ही क्यों भरी जाती है
मै उसके कारण आपको बताता हु
नाइट्रोजन गैस रंगहीन, गंधहीन और स्वादहीन गैस होती है।
नाइट्रोजन गैस भरने से चिप्स कुरकुरे बने रहते हैं जबकि ऑक्सीजन गैस भरी जाए तो चिप्स जल्दी ही खराब हो जाएंगे।
पैकेट में नाइट्रोजन गैस भरने से चिप्स टूटते नहीं हैं क्योंकि नाइट्रोजन एक्स्ट्रा स्पेस को फिल कर पैकेट को टाइट रखती है।
नाइट्रोजन गैस से चिप्स पैकेट को ट्रांसपोर्टेशन में आसानी होती है।
अगर चिप्स में नाइट्रोजन गैस नहीं भरी जाए तो चिप्स गीला, नरम और खराब मिलेंगे।
नाइट्रोजन की तुलना में ऑक्सीजन गैस काफी रिएक्टिव होती है। जिससे पैकेट में बैक्टीरिया वगैरह के पैदा होने का खतरा होता है जबकि नाइट्रोजन में ये खतरा खत्म हो जाता है।
मार्केट के हिसाब से देखें तो गैस भरने से चिप्स का पैकेट काफी बड़ा दिखता है। और लेने वाला सोचता है की उसे ज्यादा मिल रहा है |
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